अर्थराइटिस के कारण और आसान घरेलू उपचार Rheumatoid Arthritis In Hindi
Indian News Room Health Desk : Arthritis/अर्थराइटिस यानी गठिया जो कि आजकल यह एक आम बीमारी हो गई है. हमारे देश का हर पांचवा व्यक्ति इस बीमारी से ग्रसित है. केवल बूढ़े ही नहीं बल्कि युवा भी इसका शिकार होते जा रहे है. अर्थराइटिस (Arthritis) यानी जोड़ों की सूजन. यह एक से अधिक जोड़ो को भी प्रभावित कर सकती है. इस बीमारी के कारण हमारे जोड़ सूज जाते हैं और उन में दर्द होने लग जाता है. अगर आपके जोड़ों में कोई समस्या है तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें. जहां पर दो हड्डियों का मिलन होता है जैसे घुटने, कोहनी. ऐसी जगह पर है यह बहुत ज्यादा क्षति पहुंचाती है. आम तौर पर 60 साल के ऊपर के व्यक्तियों में यह बीमारी देखने को मिलती है. लेकिन आजकल बढ़ते वजन और दूषित खान पान की वजह से यह है बीमारी जवान लोगों में भी देखने को मिलती है.
अर्थराइटिस के प्रकार Types Of Arthritis :
रुमेटायड अर्थराइटिस Rheumatoid Arthritis :
हड्डियों से संबंधित यह एक गंभीर बीमारी है इसका उपचार करवाना बहुत दिया उसे क्या करना है बढ़ते समय पर आपको बहुत ज्यादा तकलीफ देगी और आपके शरीर के जोड़ों को भी काफी नुकसान पहुंचाएगी इसलिए एक बार डॉक्टर से संपर्क करें.
सोराइटिक अर्थराइटिस : अगर इसका समय पर इलाज ना हो तो यह बीमारी हमारे लिए काफी नुकसानदायक और लाइलाज साबित हो जाती है. सोराइटिक अर्थराइटिस के दर्द का रूप सोरायसिस के साथ शुरू होता है.
रिएक्टिव अर्थराइटिस : अगर हमारे शरीर में कहीं संक्रमण हो जाता है तो एक जगह से दूसरी जगह पर आसानी से फैलता है. इसी तरह शरीर में किसी तरह का संक्रमण फैलने के बाद रिएक्टिव अर्थराइटिस होने का खतरा बढ़ जाता है.
गाउट या गांठ : जब हमारे जोड़ो में घाव होता है तो हमारे जोड़ों में मोनोसोडियम यूरेट क्रिस्टल समाप्त कर देता है और हमारे जोड़ों में दर्द होने लगता है. अगर हम ठीक समय पर दवाई ले और अपने भोजन में कैल्शियम युक्त चीजों का सेवन करें तो यह बीमारी कुछ हद तक सही हो सकती है.
अर्थराइटिस के कारण Causes Of Arthritis in Hindi :
आपको पता होगा कि कार्टिलेज जोड़ो को नरम और लचीला रखने में सहायक होता है. यह हमारे जोड़ों के दबाव को कम करके उनको सोक से बचाने का काम करता है. अगर हमारे कार्टिलेज में कमी आएगी तो हमें यह बीमारी हो सकती है. कई बार सामान्य से चोट भी अर्थराइटिस का कारण बन सकती है क्योंकि अगर हमारे किसी जोड़ पर चोट लग गई तो यह इन्फेक्शन करने के लिए कारगर होती है. और अर्थराइटिस की संभावना को बढ़ा देती है इसलिए घाव को ज्यादा बढ़ने न दे.
अर्थराइटिस से बचाव Prevention :
अपने खान-पान का ध्यान रखें. अपना वजन नियंत्रित नियंत्रित रखें क्योंकि अगर आपको वजन ज्यादा होगा तो आपके जोड़ों पर ज्यादा बाद दबाव पड़ेगा. हर रोज एक्सरसाइज करें. इससे आपके जोड़ों को हिलने में मदद मिलेगी. अगर आपको जोड़ो से संबंधित कोई समस्या है तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें. समय पर अपनी दवा लेते रहें. सुबह गर्म या गुनगुने पानी से स्नान करे.
अर्थराइटिस के घरेलू उपचार Home Remedies For Arthritis In Hindi :
जैतून का तेल गठिया के दर्द को कम करने में काफी सहायक होता है इसलिए जैतून के तेल की मालिश करें. कैल्शियम युक्त सप्लीमेंट या कैल्शियम युक्त फलों का सेवन करें. आप अंडे का सेवन भी कर सकते है. नियमित रूप से 10 से 20 ग्राम अदरक के पाउडर का सेवन करने से भी घठिया रोग में काफी फायदा मिलता है. अरंडी का तेल गठिया रोग के दर्द से निजात दिलाने के लिए काफी मददगार होता है इसलिए अरंडी के तेल की मालिश भी कर सकते है.